रोते रोते हंसना सीखो हंसते रोना फिर आत्महत्या, प्यार में
*पहले खूब रोया फिर की आत्महत्या*,
फिरोजाबाद में ससुराल से लौटने के बाद युवक ने फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली। शुक्रवार की सुबह उसका शव कमरे में फंदे से लटका मिला। परिजनों ने कमरे का दरवाजा तोड़कर शव को नीचे उतारा। युवक ने आत्महत्या करने से पहले सुसाइड नोट भी लिखा। जिसमें उसने आत्महत्या के लिए पत्नी के चाचा-चाची को जिम्मेदार ठहराया। पत्नी के लिए लिखा कि मरने के बाद तुम मेरी सूरत देख मत आना। मां मुझे माफ करना, मैं तुम्हारे बुढ़ापे की लाठी नहीं बन पाया।
रामगढ़ थाना क्षेत्र के मोहल्ला सैलई निवासी मोहन सिंह (23) ने गुरुवार रात को कमरे में दुपट्टे से फंदा बनाकर आत्महत्या कर ली। सुबह करीब छह बजे जब मोहन सिंह सोकर नहीं जागा तो उसकी मां गीता देवी ने आवाज लगाई। उसने कोई जवाब नहीं दिया गया तो मां ने कमरे में झांककर देखा तो मोहन का शव फंदे से लटका था। बेटे का शव देख मां रोने-चिल्लाने लगी। अन्य परिजन भी पहुंच गए। उन्होंने दरवाजा तोड़कर शव को फंदे से नीचे उतारा।सूचना पर रामगढ़ थाना पुलिस भी पहुंच गई। छानबीन के दौरान पुलिस को मोहन के कमरे से सुसाइड नोट मिला है। जिसमें उसने मौत के लिए पत्नी के चाचा-चाची को जिम्मेदार ठहराया। लिखा है कि पत्नी के बड़े चाचा चाची को सख्त सजा मिले। आगे लिखा, चलो आज कुछ ऐसा करते हैं आज तुम्हारे खातिर मरते हैं। थानाध्यक्ष रामगढ़ हरर्वेंद्र मिश्रा का कहना है कि मामले की जांच की जा रही है।पीड़ित परिजनों ने बताया कि मोहन सिंह का विवाह दो साल पूर्व सिरसागंज थाना क्षेत्र की रहने वाली शिवानी के साथ हुआ था। शिवानी शादी के बाद एक साल तक ही मोहन सिंह के साथ रही थी। पिछले एक साल से शिवानी मायके में ही रह रही है। गुरुवार को मोहन सिंह शिवानी को बुलाने के लिए ससुराल गया था।आरोप है कि ससुराल में विवाद होने पर शिवानी के परिजनों ने मोहन सिंह को सिरसागंज पुलिस से पकड़वा दिया था। वह किसी तरह से छूटकर आया। देर रात घर आने पर उसने आत्महत्या कर ली। मोहन के कोई संतान नहीं थी। वह इलेक्ट्रिकल सामान का कारोबार करता था। मोहन की मौत से उसकी मां का रो-रोकर बुरा हाल हो गया