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भाजपा ने वसुन्धरा राजे सिंधिया को राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाया गया उधर केरल के अब्दुल्ला कुट्टी और उत्तर प्रदेश के तारिक मंसूर को भी राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बना कर मुस्लिम समाज को साधने का प्रयास किया

भाजपा ने वसुन्धरा राजे सिंधिया को राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाया गया ?
केरल के अब्दुल्ला कुट्टी और उत्तर प्रदेश के तारिक मंसूर को भी राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बना कर मुस्लिम समाज को साधने का प्रयास किया ?
वसुन्धरा राजे सिंधिया के कारण राजस्थान प्रदेश में भाजपा को मुस्लिम वोटों का हो सकता है फ़ायदा ?
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सन 2003 में राजस्थान में पहली मर्तबा वसुन्धरा राजे सिंधिया ने मुख्य मंत्री पद की बागडोर संभाली थी और बेहद सक्सेस पूर्ण तरीके से प्रदेश में सरकार चलाई ? राजस्थान के मुसलमानों के साथ भी कभी कोई भेदभाव के आरोप वसुन्धरा राजे सिंधिया पर नहीं लगे । उनके मंत्री मण्डल में मुस्लिम विधायक युनस ख़ान के पास दो दो, तीन तीन पावरफुल मंत्रालय रहे, कभी मात्र तुष्टीकरण के लिए वक्फ और अल्पसंख्यक मामलात का विभाग नहीं दिया गया ? दुबारा सन 2013 में फिर से राजस्थान में भाजपा की सरकार बनी, वसुन्धरा राजे सिंधिया फिर से मुख्य मंत्री बनी, दुबारा फिर उन्होंने युनस ख़ान को कैबिनेट मंत्री बनाया और बेहद शक्तिशाली मंत्रालय दिया, यही नहीं बल्कि युनस ख़ान कायमखानी को प्रदेश में मैडम के बाद सबसे पॉवरफुल मंत्री माना जाता था, यहां तक कि राजेन्द्र सिंह राठौड़ का नम्बर भी युनस ख़ान के बाद ही समझा जाता था ? वसुन्धरा राजे के दोनों कार्यकाल में भाजपा राज के बावजूद कभी मुसलमानों के साथ कोई भेदभाव की शिकायत नहीं रही, जबकि दूसरी ओर कलंदरी मस्जिद को ही बेचने का मामला सुर्ख़ियों में छाया रहा था और गोपालपुरा में गोली काण्ड की भी चर्चा रही थी ? वसुन्धरा राजे सिंधिया के ही कार्यकाल में बीकानेर यू आई टी चैयरमैन पहले श्री गोपाल अग्रवाल और दुबारा महावीर रांका को बनाया गया, जिनसे भी बीकानेर जिले के मुस्लिम समाज को कोई शिकायत नहीं रही ? और महावीर रांका द्वारा कोविड वक्त में जहां मुस्लिम बैल्ट में कर्फ्यू लगा हुआ था उस वक्त महावीर रांका ने बिना भेदभाव काम किए, गरीब मुसलमानों के घरों में खाने का सामान दिया गया उसे कैसे भुलाया जा सकता है ? जनता द्वारा सब याद रखा जा रहा है ? भाजपा द्वारा दिनांक 29 जुलाई को अपनी राष्ट्रीय कार्यकारिणी में वसुन्धरा राजे सिंधिया को राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बना कर एक अच्छा सन्देश दिया है यही नहीं इस राष्ट्रीय कार्यकारिणी में केरल के अब्दुल्ला कुट्टी और उत्तर प्रदेश के तारिक मंसूर को राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बना कर मुस्लिम समाज को अपने साथ करने का प्रयास किया जा रहा है ? राजस्थान में पहले तीन साल तक तो केवल मात्र एक मुस्लिम विधायक सालेह मोहम्मद को मंत्री बनाया और उसे भी केवल मात्र वक्फ और अल्पसंख्यक मामलात के मंत्रालय का झुनझुना थमा दिया गया ? तीन साल बाद जाहिदा खान को राज्य मंत्री बना कर प्रिंटिंग प्रेस का मंत्रालय दिया गया, बहुत समय बाद उसे शिक्षा राज्य मंत्री का भी भार दिया गया लेकिन उनकी भी शिकायत थी कि शिक्षा विभाग में उसके पास कोई पावर नहीं है ? बीकानेर जिले के मुस्लिम समाज को उम्मीद थी कि शायद किसी मुसलमान को बीकानेर यू आई टी चैयरमैन बनाया जायेगा, बीकानेर जिले में लगभग ढाई लाख मुस्लिम वोट माने जाते हैं ? तीस साल पहले बीकानेर शहर जिला कांग्रेस अध्यक्ष एक मुस्लिम नेता नूर मोहम्मद गोरी हुआ करते थे, लेकिन इनके बाद कांग्रेस ने किसी मुसलमान को कांग्रेस अध्यक्ष नहीं बनाया ? राजस्थान के मुसलमान वसुन्धरा राजे सिंधिया को सही मायने में एक धर्मनिरपेक्ष विचारधारा की नेता मानते हैं, इसीलिए इनसे किसी को कोई ऐतराज या परहेज़ नहीं है । यदि भाजपा ने राजस्थान प्रदेश की बागडोर वसुन्धरा के हाथ सौंप दी, तो प्रदेश का अच्छा खासा मुस्लिम वोट भाजपा के खाते में जा सकता है ? प्राप्त जानकारी के अनुसार बीकानेर जिले में बहुत सारे दिग्गज मुस्लिम नेता वसुन्धरा राजे सिंधिया के निजी रुप से सम्पर्क में है ? जानकारी मिली है कि एक मुस्लिम नेता, जो कभी निर्दलीय रुप से चुनाव लड़ चुके हैं वह भी वसुन्धरा राजे सिंधिया के सम्पर्क में है और कभी भी कांग्रेस का दामन छोड़ सकते हैं ? राजस्थान के कायमखानी समाज के तो बहुत सारे दिग्गज नेता पहले भी भाजपा के साथ जा चुके हैं ? कोटा के अमीन खान पठान, बीकानेर शहर के अयुब खान कायमखानी, ईमरान ख़ान कायनखानी आदि भी बहुत टाईम से भाजपा के साथ काम कर रहे हैं ? समझा जा रहा है कि एक तरफ़ कांग्रेस पार्टी द्वारा मुस्लिम समाज के नेताओं को कोई तवज्जो नहीं दी जा रही है, उनका मानना है कि मुस्लिम समाज के पास कांग्रेस को वोट देने के अलावा कोई विकल्प ही नहीं है ? दुसरा यह भी हकीकत है कि कांग्रेस पार्टी द्वारा सॉफ्ट हिन्दुत्व की राजनीति की जा रही है ? एक वक्त था जब दिल्ली में कांग्रेस के पास पचासों मुस्लिम नेता हुआ करते थे, आज इमरान प्रतापगढ़ी और काज़ी निजामुदिन के अलावा किसी मुस्लिम नेता का नाम ही सुनने में नहीं मिलता है ?
यदि भाजपा ने मुसलमानों को गले लगाया तो मुसलमान भी भाजपा का दामन थामने में परहेज़ क्यों करेगा ? कांग्रेस को यदि मुस्लिम वोट लेने हैं तो मुसलमानों को राजनैतिक हक़ तो देने ही चाहिए ?
फकत
सैय्यद महमूद
प्रधान संपादक
बीकानेर की आवाज़
बीकानेर !

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